Tuesday, April 28

योगासन करते समय पालन योग्य नियम

  1. योगासन को सुबह सूरज उगने से पहले से लेकर शाम को सूरज डूबने तक किसी भी समय किया जा सकता है। परंतु प्रतिदिन योगासन करने का एक निश्चित समय  होना चाहिए। 
  2. यदि योगासन करने के समय शरीर में कोई दर्द या अति थकान लगे तो योगासन नहीं करना चाहिए।  जिन योगासनों का अभ्यास खास तौर से रोगों को दूर करने के लिए ही किया जाता है, उन्हें  किया जा सकता है।
  3. योगासन को करते समय शौच क्रिया से निवृत हो जाना चाहिए। स्नान के बाद आसन  करें तो सबसे अच्छा है। 
  4. प्रारंभ  में किसी भी आसन को करने में बहुत परेशानी आती है तथा हाथ-पैर आदि शरीर के अंगों को मोड़ पाना बहुत मुश्किल होता है, लेकिन धीरे-धीरे लगातार अभ्यास करते रहने से कुछ ही दिनों में सारी परेशानियां समाप्त हो जाती हैं और सारे अंग बड़ी ही आसानी से मुड़ जाते हैं। योगासन के शुरुआती दिनों में जो क्रिया जितनी हो सके उतनी ही करनी चाहिए तथा फिर धीरे-धीरे इनको करने का समय बढ़ाते जाए। जबरदस्ती नही करनी चाहिए |
  5. योगासन को भोजन करने से कम से कम 2 घंटे पहले या भोजन करने के 4 घंटे बाद करना चाहिए। खाली पेट योगासन करना अति उत्तम है |
  6. योगासन का अभ्यास 24 घंटे में 1 बार करना चाहिए। अभ्यास कम से कम 15 मिनट और ज्यादा से ज्यादा 1 घंटे तक करना चाहिए। 
  7. योगासन करने वाले व्यक्ति को  हल्का, जल्दी पचने वाला भोजन करना चाहिए। अधिक  तला हुआ एवं मिर्च-मसालेदार भोजन नहीं करना चाहिए। हरी सब्जियां, सलाद, दूध, मक्खन आदि जल्दी पचने वाले और पौष्टिक भोजन उपयुक्त हैं | भूख से थोड़ा सा कम भोजन ही करना चाहिए। योगासन काल में चाय और काफी ना पी जाए तो उत्तम  है। 
  8. प्रत्येक आसन करते समय अपनी श्वास पर ध्यान रखें | आसन के अनुसार ही श्वास-प्रश्वास रखें |
  9. अभ्यासी को एक बात ध्यान में रखनी चाहिए कि आगे झुकने वाले आसन रीढ़  के रोगी,पीछे की झुकने वाले आसन पेट के रोगियों के लिए हानिकारक हैं , अतः यदि रीढ़ या पेट का कोई रोग है तो इन्हें नही करना चाहिए |
  10.  जब  भूख लगे तब ही भोजन करना चाहिए। यदि कब्ज हो तो थोड़ा सा नमक डालकर 2-3 गिलास हल्का गर्म पानी पी लें। फिर कुछ देर तक टहलने के बाद पवन-मुक्तासन, ताड़ासन, भुजंगासन आदि कब्ज को दूर करने वाले आसानों को करने के बाद ही शौच क्रिया के लिए जाना चाहिए। इन आसनों को करने से कब्ज के रोग में बहुत जल्दी लाभ होता है।  कब्ज दूर करने के लिए  फल, फलों का रस, सब्जियों का सूप एवं दूध का सेवन किया जा सकता है । कब्ज को दूर करने के लिए जुलाब आदि किसी रेचक औषधि का  सेवन न करें।
  11. भोजन  को आराम-आराम से और अच्छी तरह चबा - चबाकर करना चाहिए, इससे भोजन जल्दी पच जाता है। भोजन जल्दबाजी में करना अच्छा नही होता है। भोजन में नमक कम रखा जाए तो अच्छा रहता है।
  12. योगासन का अभ्यास खत्म करने के बाद जितने समय तक योगासन किया गया हो उसका चौथाई हिस्से का समय आराम करना चाहिए। जैसे यदि  30 मिनट तक अभ्यास किया गया हो तो कम से कम 8 मिनट तक आराम करना चाहिए। इसी तरह से अगर 1 घंटे तक अभ्यास किया गया हो तो कम से कम 15 मिनट तक आराम अवश्य करना चाहिए।
  13. योगासन करते समय अपने दिमाग से चिंता, गुस्सा, घबराहट, जलन, डर, घमंड और बदले की भावना को दूर रखना चाहिए। इसके साथ ही दिमाग पर किसी भी तरह का कोई दबाव नही पड़ना चाहिए। अगर योगासन करते समय उसमें दिल न लगे तो उसका अभ्यास तुरंत ही बंद कर देना चाहिए। शांत मन से की गई क्रिया ही स्वास्थ्य के लिए अच्छी रहती है। 
  14. योगासन करने से 2 घंटे पहले और 2 घंटे बाद किसी भी तरह के नशीले पदार्थों का सेवन नहीं करना चाहिए। शराब, भांग, गांजा, अफीम, चरस और तंबाकू का तो बिल्कुल इस्तेमाल न करें तो बहुत अच्छा है। 
  15. योगासन करने से पहले एक गिलास ताजा पानी पी लेना लाभकारी है।
  16. यदि आपको कोई रोग है और आप रोगों को दूर करने वाले आसन कर रहे हैं तो उस हालत में भोजन में उन्हीं चीजों को सेवन करना चाहिए जो रोग के शमन में लाभकारी हों , इसके लिए अपने चिकित्सक से सलाह कर लेनी चाहिए | 
  17. योगाभ्यासी को प्रतिदिन रात्रि को 10 बजे तक सोना एवं प्रातः सूर्योदय से पूर्व  जागना चाहिए |
  18. सांस लेने की क्रिया हमेशा नाक के द्वारा ही करनी चाहिए। मुंह से सांस लेना और छोड़ना सही नहीं कहा जा सकता। सांस को हमेशा गहरी ही लेनी चाहिए। जल्दी-जल्दी नही लेना चाहिए। प्राकृतिक सांस हमेशा पेट से ली जाती है सीने से नही।
  19. अभ्यासी को कपड़े हमेशा ढीले, मौसम के अनुसार और साफ-सुथरें ही पहनने चाहिए। 
  20. योगासनों की समाप्ति के बाद उसी समय ठंडी हवा में बाहर नही निकलना चाहिए। जिस स्थान पर योगासन किया जाता है वहां पर ज्यादा तेज हवा नही आनी चाहिए। इसी तरह योगासनों का अभ्यास खत्म करने के बाद तुरंत ही नहाना नहीं चाहिए।
  21. सर्दी के मौसम में योगासनों को करते समय छाती को हमेशा ढककर रखना चाहिए। 
  22. योगासनों का अभ्यास पूरा हो जाने के  तुरंत बाद लघुशंका जाना चाहिए। इससे इकट्ठा हुआ विष शरीर से बाहर निकल आता है। 
  23. सबसे पहले योगासन, इसके बाद प्राणायाम और आखिरी में ध्यान लगाना सबसे अच्छा रहता है। लेकिन बहुत से लोग इनमें से कोई सी भी एक या दो क्रियाओं को करना चाहते हैं तो वे अपनी इच्छा के मुताबिक कर सकते हैं। सिर्फ योगासन, सिर्फ प्राणायाम या सिर्फ ध्यान भी लाभकारी रहते हैं। 
  24. योगासन के लिए 30 मिनट, प्राणायाम के लिए 10 मिनट और ध्यान के लिए 10 मिनट तथा हर एक के बीच में और आखिरी में 10-10 मिनट का आराम करना चाहिए। इस तरह से अगर 80 मिनट का समय रोजाना इस काम को दिया जा सके तो उसका पूरी तरह से लाभ प्राप्त होता है।
  25. भोजन को आराम-आराम से और अच्छी तरह चबा चबाकर करना चाहिए, इससे भोजन जल्दी पच जाता है। भोजन जल्दबाजी में करना अच्छा नही होता है। भोजन में अगर नमक कम ही रखा जाए तो अच्छा रहता है।
  26. यदि योगासन को करते समय - लघुशंका,शौच आदि आए तो तुरंत ही उससे निवृत हो जाना चाहिए और फिर योगासन प्रारंभ करना चाहिए।

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