इस साधारण योग क्रिया के द्वारा घबराहट को दूर किया जा सकता है। ध्यान रखें कि इस विधि का अभ्यास हमेशा न करें। इसका अभ्यास तभी करें जब तत्काल घबराहट से आराम पाने की आवश्यकता हो। इसके अभ्यास से तेज घबराहट में भी जल्द आराम मिल जाता है-
• इस क्रिया का स्नायुओं पर शांतिकारक प्रभाव पड़ता है।
• इससे घबराहट में जल्द आराम मिलता है।
• इससे दिल की गति संतुलित होती है और मन शांत होता है।
• यदि इस क्रिया के अभ्यास से भले ही घबराहट पूर्ण रूप से दूर न हो तो भी बहुत आराम मिलता है।
• इस क्रिया का अभ्यास कहीं भी किसी भी जगह पर किया जा सकता है।
विधि :
- कुर्सी पर या जमीन पर दरी बिछाकर बैठ जाएं। रीढ़ को सीधा रखें।
- यदि अभ्यास खड़े होकर किया जा रहा है तो भी अपने शरीर को बिल्कुल सीधा रखें।
- अब अपने मन को एकाग्र करें और धीरे-धीरे को श्वास बाहर छोड़ते हुए अन्दर की वायु को बाहर निकाल दें।
- श्वास को कुछ देर बाहर ही रोककर रखें तत्पश्चात धीरे-धीरे श्वास अन्दर खींचें।
- इस क्रिया में सांस लेने व छोड़ने की क्रिया धीरे-धीरे करें।
- इस श्वसन क्रिया का 10 बार अभ्यास करें।
- अभ्यास के बाद 10 मिनट तक विश्राम करें।
लाभ :
• इस क्रिया का स्नायुओं पर शांतिकारक प्रभाव पड़ता है।
• इससे घबराहट में जल्द आराम मिलता है।
• इससे दिल की गति संतुलित होती है और मन शांत होता है।
• यदि इस क्रिया के अभ्यास से भले ही घबराहट पूर्ण रूप से दूर न हो तो भी बहुत आराम मिलता है।
• इस क्रिया का अभ्यास कहीं भी किसी भी जगह पर किया जा सकता है।
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